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पार्थसारथी

Unknown Artist

तंजाऊर, तमिलनाडु

पार्थसारथी (पार्थ अर्थात अर्जुन के रथ के सारथी) के रूप में कृष्ण की आराधना में भगवदगीता की शिक्षा का भगवदगीता के प्रभाव को दशीता है। इस चित्र के केंद्र में पार्थसारथी की प्रभावशाली छवि है। चित्र के बाएं कोने में सफेद वस्त्रों में एक दम्पत्ति को अपने कुलदेवता या ईष्टदेव को चढ़ावा देते दिखाया गया है।

लगभग १८०८
Painting on paper
117.5 x 77.0cm
2019.151
छवि और पाठ © Trustees, Chhatrapati Shivaji Maharaj Vastu Sangrahalaya, Mumbai, 2022